रांची। मुख्यमंत्री सोरेन ने आरोप लगाया कि राज्य में कुछ विरोधी ताकतें लगातार प्रतियोगी परीक्षाओं को बाधित करने की कोशिश करती हैं। जेएसएससी सीजीएल परीक्षा के मामले में भी षड्यंत्र किए गए, लेकिन सरकार ने निष्पक्ष जांच कर सच सामने लाया। दोषियों पर सख्त कार्रवाई हुई और उच्च न्यायालय ने भी पारदर्शिता और ईमानदार प्रयासों को मान्यता दी।मुख्यमंत्री ने कहा कि जेपीएससी ने पिछले 18 वर्षों में जितनी परीक्षाएं कराईं, उससे अधिक परीक्षाएं सरकार ने सिर्फ 5 वर्षों में संचालित कराईं। उन्होंने दावा किया कि वर्तमान सरकार के कार्यकाल में हुई सभी परीक्षाएं पारदर्शी और निष्पक्ष रहीं। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार युवाओं को अवसर देने और उनका भविष्य सुरक्षित करने के लिए प्रतिबद्ध है। जब हमारे युवा खुश और सक्षम होंगे, तभी झारखंड सशक्त और विकसित राज्य बन पाएगा। मुख्यमंत्री से मिलने पहुंचे अभ्यर्थियों ने उनकी पहल और न्याय दिलाने के प्रयासों के लिए धन्यवाद दिया। उन्होंने कहा कि सरकार की निष्पक्ष कार्रवाई और प्रतिबद्धता के कारण लंबा संघर्ष सफल हो सका है। झारखंड के मुख्यमंत्री हेमन्त सोरेन ने गुरुवार को झारखंड कर्मचारी चयन आयोग (जेएसएससी) की संयुक्त स्नातक स्तरीय (सीजीएल) परीक्षा के अभ्यर्थियों को बधाई दी। झारखंड उच्च न्यायालय द्वारा रिजल्ट जारी करने और नियुक्ति प्रक्रिया शुरू करने के आदेश के बाद बड़ी संख्या में अभ्यर्थी ढोल-नगाड़ों के साथ मुख्यमंत्री आवास पहुंचे और खुशी का इजहार किया। मुख्यमंत्री ने इस अवसर पर कहा कि अगर इरादे नेक हों, तो हर काम बेहतर होता है। उन्होंने कहा कि नियुक्ति प्रक्रिया में थोड़ी देरी जरूर हुई, लेकिन अब बाधाएं दूर हो चुकी हैं। यदि उच्च न्यायालय का फैसला जल्द आता, तो राज्य सरकार की पहली वर्षगांठ के मौके पर उम्मीदवारों को नियुक्ति पत्र सौंपने का अवसर मिल जाता। बावजूद इसके, युवाओं के संघर्ष और जज्बे ने सफलता की राह तैयार की है।
