लालू के खिलाफ कोर्ट ने जारी किया इश्तेहार

पटना। सिवान जिले में दरौंदा थाना के विधानसभा क्षेत्र में 2011 में उपचुनाव हुआ था, जिसमें राजद उम्मीदवार परमेश्वर राय, लालू यादव के पार्टी से चुनाव लड़ रहे थे। इसी बीच चुनाव प्रचार-प्रसार के दौरान उनपर अचार संहिता 144-188 धारा लगा था। इसके अंतर्गत आचार संहिता उल्लंघन ध्वनि निस्तारण यंत्र अधिनियम 9 के तहत लाउडस्पीकर एक्ट को लेकर तत्कालीन अंचलाधिकारी (सीओ) के द्वारा, जो कि उस समय उड़नदस्ता प्रभारी थे, उनके द्वारा थाना में केस दर्ज करवाया गया था। सिवान के एमपी-एमएलए कोर्ट ने पूर्व मुख्यमंत्री और राष्ट्रीय जनता दल के अध्यक्ष लालू प्रसाद यादव के खिलाफ एक इश्तेहार जारी किया है। इस इश्तेहार के जरिये कोर्ट ने उन्हें ससमय पेश होने का आदेश दिया है। लालू प्रसाद आचार संहिता उल्लंघन के एक पुराने मामले में पिछले कई सुनवाई में उपस्थित नहीं हुए थे। इस कारण कोर्ट ने उनके खिलाफ यह इश्तेहार जारी किया है।

दरअसल, कोर्ट में उपस्थिति को लेकर जमानतीय और गैर-जमानतीय वारंट जारी होने के बाद भी यदि आरोपी उपस्थित नहीं होता है, तो उसके विरुद्ध इश्तेहार जारी किया जाता है। एक पुराने मामले में न्यायालय ने उन्हें स-समय कोर्ट में पेश होने का आदेश दिया है। लालू यादव से जुड़ा यह मामला 2011 का है। एमपी ,एमएलए कोर्ट में यह केस 14 साल चलने के बाद आज एक एसीजीएम एमपी एमएलए कोर्ट के द्वारा लालू यादव के खिलाफ इश्तेहार जारी किया गया है। इश्तेहार में लालू प्रसाद यादव के गांव फुलवरिया का पता है, जहां इश्तेहार को चिपकाया जाएगा।

एडवोकेट मदन सिंह ने बताया कि यह बेलेबल सेक्शन है। आचार संहिता उल्लंघन मामले में इन पर केस दर्ज हुआ था। मदन सिंह ने कहा कि दरौंदा के पांडेपुर गांव में यह जनसभा हुई थी, जिसको लेकर आचार संहिता का उल्लंघन का मामला आया था और तत्कालीन सीओ के द्वारा उन पर केस दर्ज किया गया था। उल्लेखनीय है कि परमेश्वर राय, लालू यादव की पार्टी राजद से उम्मीदवार थे, उनकी मृत्यु हो गई है। सिर्फ लालू यादव ही इस केस में जीवित हैं, जिन पर न्यायालय के द्वारा इश्तेहार जारी किया गया है।

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