मतदान केन्द्र बदले जाने पर गोगाड़ में वोट बहिष्कार

पलामू। बूथ बदले जाने से नाराज चतरा लोकसभा क्षेत्र के पांकी विधानसभा क्षेत्र अंतर्गत पांकी प्रखंड के सुदूरवर्ती हुरलौंग पंचायत के गोगाड़ के बूथ संख्या 225 से जुड़े मतदाताओं ने वोट का बहिष्कार कर दिया, जिससे यहां वोट नहीं पड़े। सूचना पर सदर एसडीओ के नेतृत्व में अधिकारियों की टीम गोगाड़ पहुंची और मतदाताओं को समझाने का प्रयास किया लेकिन बात नहीं बनी। बताया गया है कि मतदाता गोगाड़ मध्य विद्यालय बूथ 225 पर मतदान करने आए थे लेकिन प्रशासन ने गोगाड़ बूथ को हुरलौंग राजकीय उत्क्रमित मध्य विद्यालय कर दिया था। इसके बाद गोगाड़ के मतदाताओं ने हुरलौंग जाकर वोट देने से साफ इंकार कर दिया। मतदाताओं का कहना था कि आखिर बूथ क्यों बदला गया? वोट देने दूसरे गांव नहीं जाएंगे। गांव के बूथ पर वोट होगा तो यहां के मतदाता वोट करेंगे।

गांव के हंसराज सिंह, अशोक सिंह, पंकज सिंह, सुरेश यादव, योगेंद्र सिंह, विरेंद्र कुमार, रमेश सिंह, आलोक कुमार सिंह और धर्मेंद्र सिंह आदि ने कहा कि बूथ बदले जाने से नाराज मतदाताओं ने वोट बहिष्कार कर दिया। गोगाड़ बूथ 225 पर 650 से अधिक मतदाता हैं। सभी इस बूथ पर कई दशकों से मतदान करते आ रहे हैं लेकिन इस बार बूथ को राजकीय उत्क्रमित मध्य विद्यालय हुरलौंग पूर्वी भाग से जोड़ दिया गया है। इससे यहां के लोगों को उत्क्रमित मध्य विद्यालय हुरलौंग जाकर वोट देने में काफी परेशानी होगी।

उल्लेखनीय है कि चतरा लोकसभा क्षेत्र के पांकी विधानसभा क्षेत्र में जिला प्रशासन ने नौ बूथों को बदला है।इसमें बूथ 225 उत्क्रमित मध्य विद्यालय गोगाड़ को 223 राजकीय उत्क्रमित उर्दू मध्य विद्यालय हुरलौंग, पूर्वी भाग में रिलोकेट किया गया है।

प्रशासन पर दबाव देने का आरोप

गोगाड़ गांव के मतदाताओं ने जिला प्रशासन पर दबाव देने का आरोप लगाया। ग्रामीणों का कहना था कि सदर एसडीओ अनुराग कुमार तिवारी और पांकी बीडीओ अरुण कुमार मुंडा आदि अधिकारियों ने मतदाताओं को गलत केस में फंसाने की धमकी देते हुए दूसरे गांव में जाकर वोट देने की लिए दबाव बनाने का प्रयास किया। यहां के मतदाताओं ने जब वोट बहिष्कार कर दिया तो प्रशासन ने आंगनबाड़ी सेविका, सहायिका, जल सहिया, बीएलओ और शिक्षक को वोट करने के लिए दबाव डाला गया। इस बाबत मेदिनीनगर सदर एसडीओ अनुराग कुमार तिवारी ने बताया कि पांकी के गोगाड़ गांव के लोगों के वोट बहिष्कार करने की सूचना के बाद प्रशासन की टीम ने गांव जाकर मतदाताओं को समझाने का प्रयास किया लेकिन गांव के कुछ लोगों ने भोली-भाली जनता को बरगला कर उन्हें भड़काया, जिससे लोग वोट देने घरों से नहीं निकले। प्रशासन वैसे लोगों को चिह्नित कर कार्रवाई करेगा। उन्होंने बताया कि मतदाताओं को वोट देने के लिए कोई दबाव नहीं दिया गया है, बल्कि उन्हें शांत तरीके से समझाने का प्रयास किया गया।

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